
एक बार दस्त के लिए एक ग्लास ओआरएस जरूरी होता है. गर्मियों में लगने वाले दस्त अक्सर पानी जैसे पतले, बिना दर्द के होते हैं और इनमें बलगम या रक्त नहीं आता. उनके इलाज के लिए एंटीबायोटिक्स की जरूरत नहीं होती. इसका केवल एक ही इलाज है मुंह के जरिए पानी देते रहना. यह जानकारी हार्ट केयर फाउंडेशन ऑफ इंडिया के अध्यक्ष डॉ. के.के. अग्रवाल ने दी. एक बार दस्त आने से शरीर से एक ग्लास पानी की कमी होती है. इस बारे में समझाते हुए डॉ. अग्रवाल बताते हैं, “अगर मरीज को 10 बार दस्त हों तो उसे सामान्य तरल आहार के साथ-साथ 12 गिलास ओआरएस देना चाहिए और उसके बाद आने वाले हर दस्त के लिए एक गिलास ओरआरएस लेना चाहिए.”
अगर 12 बार दस्त आते हैं तो मरीज का इलाज ओपीडी में ही किया जा सकता है लेकिन अगर 12 से ज्यादा बार आएं तो उसे अस्तपाल में डॉक्टर की देखरेख में रखना चाहिए. अगर यह संख्या 40 से बढ़ जाए तो मरीज को इंटेसिव ट्रीटमेंट की जरूरत होती है.
गुर्दो का काम करना बंद हो जाना, इससे प्रमुख समस्या पैदा होती है, यह तब होता है जब रक्तचाप कई घंटों तक कम रहता है. दस्त के वक्त जरूरी है कि मरीज हर 6 से 8 घंटे में एक बार पेशाब जरूर करे. अगर ऐसा न हो तो यह गुर्दो में रुकावट का संकेत हो सकता है.
Source: abpnews
कृपया इस महत्वपूर्ण जानकारी को अपने परिवार और मित्रों के साथ ज्यादा से ज्यादा शेयर करें!