- ग्रीन-टी में जबरदस्त एंटीऑक्सीडेंट एवं थोड़ा सा केफीन होता है।
- ग्रीन-टी में हृदय रोग रोधक एवं कैंसर रोधक क्षमता और वज़न घटाने की क्षमता होती है।
- पीरियड्स के दौरान ग्रीन-टी पीने से हमारे शरीर के आयरन लेवल में कुछ नकारात्मक प्रभाव आ सकते हैं यानी शरीर के लौह तत्वों की घुलनशीलता में रूकावट आ सकती है, हालंकि इससे लौह स्तर में कमी नहीं होती।

प्रतिदिन 2 कप ग्रीन-टी पीने से पीरियड्स के दिनों में भी सेहत को कोई नुक्सान नहीं होता। खून में आयरन के स्तर व् हेमोग्लोबिन को सही बनाये रखने के लिए पीरियड्स के प्रथम चार दिनों में आयरन से भरपूर भोजन करें, जैसे पालक का सूप, छुआरा, मेथी का पराठा इत्यादि। लौह तत्वों वाला भोजन करने से हेमोग्लोबिन का स्तर सही रूप में बना रहेगा। साथ ही विटामिन C” वाला भोजन भी करें।
ग्रीन-टी के विषय में जानने योग्य बातें
1. आप प्रतिदिन 3 कप ग्रीन-टी पी सकती हैं, किन्तु पीरियड्स के दिनों में 2 कप ही पीयें।
2. ग्रीन-टी में एंटीऑक्सीडेंट भरपूर होता है जो आपके मेटाबोलिज्म को बढ़ा कर आपको एक्टिव रखता है।
3. साधारण चाय या हर्बल चाय के मुकाबले ग्रीन-टी में केफीन की मात्रा बहुत कम होती है।
Source: healthindian
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